मद्रास हाईकोर्ट का फैसला यौन उत्पीड़न का सिर्फ एक मामला भी “निरंतर अपराध” माना जा सकता है
न्यायमूर्ति डी. भारत चक्रवर्ती ने कहा कि यौन उत्पीड़न के खिलाफ महिलाओं के कार्यस्थल पर (रोकथाम, निषेध और निवारण) अधिनियम, 2013 (POSH अधिनियम) की धारा 9 द्वारा निर्धारित छह महीने … Read more